राम से बड़ा राम का नाम –
विजय कुमार शर्मा की कलम से
प्रभु का नेटवर्क बहुत ही विशाल है। जिसमें स्वयं प्रभु मनुष्य की चिंता करते हैं उसे कोई कष्ट नहीं होता और जिसकी कनेक्टिविटी प्रभु के नेटवर्क से कट जाती है तो उसका नास हो जाता है
समुद्र पर सेतु का निर्माण हो रहा था तब नल नील बानर पत्थरों पर श्री राम जी का नाम लिख कर समुद्र में डाल रहे थे। तो वह सभी पत्थर पानी में तैर रहे थे उन्हीं पत्थरों से समुद्र पर सेतु बन गया जिसे देख कर भगवान श्री राम स्वयं आश्चर्यचकित थे वह अपने नाम की महिमा की परीक्षा लेने के लिए उन्होंने स्वयं एक पत्थर को उठाकर समुद्र में फेंका आश्चर्य वह पत्थर समुद्र में डूब गया जिसे देख कर श्री राम चकित रह गए उन्होंने इधर उधर देखा और काफी चिंता में पड़ गए अपने पीछे पवन पुत्र हनुमान को देखकर वह उनसे बोले हनुमान जी यह किया पत्थर डूब क्यों गया हनुमान जी बोले प्रभु जिसको आप समुद्र में फेंक देंगे तो वह तो डूब ही जाएगा।
इससे स्पष्ट है की श्रीराम से बड़ा उनका नाम है जिसके स्मरण करने से मानव भवसागर से पार हो जाता है।
कार्यक्रम में भगवान श्री कृष्ण की सुंदर सुंदर झांकियां निकाली गई साथ ही साथ श्री राम तथा सीता मां के दर्शन भी दर्शकों को कराए गए।
Check Also
22 जनवरी को भगवान राम की पूजा करें और शाम को दीये जलाएं:स्वामी पुरुषोत्तमाचार्य
फरीदाबाद से बी.आर.मुराद की रिपोर्ट फरीदाबाद:सिद्धदाता आश्रम में भगवान राम लला की प्राण प्रतिष्ठा …