ब्यूरो रिपोर्ट राकेश पाण्डेय IBN NEWS गाजीपुर
गाजीपुर जिले के सिटी रेलवे स्टेशन पर विकास पुरुष की ओर से शुरू किया गया आफीसर क्लब का निर्माण 4 साल से अधर मे लटक रहा है.अनदेखी व उपेक्षा का आलम यह है कि रात के समय निर्माणाधीन भवन मे जेंडर जमावड़ा लगा रहे है.
बताया जाता है कि वर्ष 2017 मे जब मनोज सिन्हा रेल राज्य मंत्री थे तो उन्होंने इस विल्डिंग का काम कारदाई संस्था से कैंसल करा अपने चहेते ठेकेदार को दे दिया था . ताकि काम और बेहतर हो सके.
इस अधिकारी विश्राम गृह का आशय यह था कि जनपद मे पटरी का दोहरीकरण व विजली करण हो जाने के बाद गाडियों की संख्या बढने से विभागीय लोगो का आवागमन तेज होगा ऐसे मे इस रूट पर वाराणसी से छपरा के बीच अफसरों के हाल्ट का एकलौता स्थान बन जायेगा. और अफसर रूकेगा तो रेल के कार्य व व्यवस्था बेहतर होगी.
समय के साथ लंबे चौडे हिस्से मे दो मंजिल का बेहतर गेस्टहाउस की दीवारों और छत का काम पूरा हो गया. इसी बीच मनोज सिन्हा भारी मतों के अंतर से चुनाव हार गये. उसके बाद काम बंद कर लापता हुए विकास पुरुष के चहेते ठेकेदार का 3 साल से कोई पुरषाहाल नही है.
लाकडाउन के बाद से स्थानीय स्टेशन पर हो रहे फाउंडेशन व पटरी तथा प्लेटफार्म का काम कराने वाले दूसरे ठेकेदार के मजदूर अपना डेरा जमाये है. जहा जेंडर व नशेडियो का भी कहर समय समय पर टूटता रहता है.